Kundli matching Archives - KundliHindi https://kundlihindi.com/tag/kundli-matching/ My WordPress Blog Fri, 27 Sep 2024 06:45:27 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.7.1 https://i0.wp.com/kundlihindi.com/wp-content/uploads/2022/11/cropped-kundlihindi.png?fit=32%2C32&ssl=1 Kundli matching Archives - KundliHindi https://kundlihindi.com/tag/kundli-matching/ 32 32 214685846 अगर मैं कुंडली मिलाए बिना शादी करूँ तो क्या मेरी शादी सफल होगी? https://kundlihindi.com/blog/bina-kundli-milan-ke-shadi-safal-hogi-kya/ https://kundlihindi.com/blog/bina-kundli-milan-ke-shadi-safal-hogi-kya/#respond Fri, 27 Sep 2024 06:45:27 +0000 https://kundlihindi.com/?p=3082 आजकल जब कुंडली मिलान जैसी तकनीक सबके लिए उपलब्ध है तो मन में ये प्रश्न भी आना स्वाभाविक है कि अगर मैं कुंडली मिलाए बिना शादी करूँ तो क्या मेरी शादी सफल होगी? तो इस प्रश्न का जवाब सिर्फ एक शब्द में नहीं कहा जा सकता है क्योंकि इस प्रश्न के भीतर कई उत्तर समाए...

The post अगर मैं कुंडली मिलाए बिना शादी करूँ तो क्या मेरी शादी सफल होगी? appeared first on KundliHindi.

]]>
आजकल जब कुंडली मिलान जैसी तकनीक सबके लिए उपलब्ध है तो मन में ये प्रश्न भी आना स्वाभाविक है कि अगर मैं कुंडली मिलाए बिना शादी करूँ तो क्या मेरी शादी सफल होगी? तो इस प्रश्न का जवाब सिर्फ एक शब्द में नहीं कहा जा सकता है क्योंकि इस प्रश्न के भीतर कई उत्तर समाए हुए हैं जिसके लिए हर उत्तर पर ध्यान देने की आवश्यकता है। यह प्रश्न उसी प्रश्न की भांति है किसृष्टि को कौन चला रहा हैअब इस प्रश्न में एक उत्तर देने से सभी लोग संतुष्ट नहीं हो पाएंगे क्योंकि हर मार्ग से इसकी अनुभूति का स्वरूप अलग अलग होगा। इसी तरह से कुंडली मिलाए बिना भी लाखों शादियां हो रही हैं लेकिन जब बात आती है कुंडली मिलाने की तब स्थिति अलग असर दिखाती है और रिश्तों में जो विशेष सुख मिलता है वह और कहीं नहीं मिल पाता है। व्यक्ति को जीवन साथी के रूप में हर कदम पर साथ चलने वाला प्रीतम मिलता है। फिर चाहे प्रेम विवाह हो या फिर परिवार की सहमति से किया हुआ विवाह दोनों में ही कुंडली मिलान का महत्व बहुत अधिक शुभ प्रभाव देने वाला बन जाता है। 

हमें शादी से पहले कुंडली क्यों मिलानी चाहिए?

विवाह हिंदू संस्कृति में विशेष कर्म माना गया है और परंपराओं का एक सुंदर चित्रण है। विवाह हर संप्रदाय और धर्म के परिपेक्ष में एक विशेष अनुष्ठान रहा है। लेकिन जब हम भारतीय संस्कृति में इसे देखते हैं तो इसके पीछे के वैज्ञानिक सिद्धांतों भी सफल होते हैं क्योंकि यहां विवाह से पहले दोनो लोगों की कुंडलियों का मिलान करने के बार विवाह की अनुमति दी जाती है। अब अगर मन में प्रश्न है कि हमें शादी से पहले कुंडली क्यों मिलानी चाहिए तो इसके बहुत से कारण हैं और ये कारण तर्क सम्मत ही हैं। 

पहले तो हमें यह समझने की आवश्यकता है की कुंडली मिलान/horoscope matching केवल अष्टकूट मिलान कर लेने से ही पूरा नहीं होता है। इन आठ गुणों के अलावा भी दोनों की जन्म कुंडलियों में स्थिति ग्रहों की स्थिति, दशा का प्रभाव सभी बातें अपना असर डालती हैं। आज के समय में कुंडली मिलान को अष्टकूट मिलान तक ही सीमित कर दिया गया है जो बिल्कुल भी उचित नहीं है। अष्टकूट मिलान वह गुण मिलान है जो व्यक्ति के अधिकांश पक्ष को प्रभावित करता है। इस मिलान से हम व्यक्ति के मूल भूत गुण उसकी सोचव्यवहार कुशलता, आर्थिक स्थिति, यौन संबंधों की अनुकूलता, संतान सुख इत्यादि के बारे में जान पाते हैं। ऎसे में दोनों पक्ष के भीतर के उन सहज गुणों को भी देख पाते हैं जिन्हें व्यक्ति किसी को भी नहीं बताता है तो ऐसी स्थिति में अष्टकूट मिलान बेहद उपयोगी होता है लेकिन कुछ अन्य बातें भी कुंडली में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं जो इस प्रकार रह सकती हैं

1. कुंडली में बनने वाले शुभअशुभ योग 
2. कुंडली में ग्रहों की स्थिति
3. कुंडली विवाह भाव की शुभता अथवा अशुभता का प्रभाव 
4. कुंडली में ग्रहों के गोचर की स्थिति कैसी है। 
5. कुंडली में दशाओं का प्रभाव 
6. वर्ग कुंडलियों जैसे नवांश कुंडली, सप्तमांश कुंडली इत्यादि की स्थिति 

इन कुछ बिंदुओं को भी कुंडली मिलाने के समय देखना बेहद जरूरी होता है। क्योंकि हमारे पास ऎसे कुछ उदाहरण देखने को मिल जाएंगे जो गुण मिलान में श्रेष्ठ अंक पाकर भी विवाह सुख में कई तरह की परेशानियों से घिरे होते हैं और दूसरी ओर कम गुण मिलान भी विवाह को सुखमय बना रहा है। तो ऐसी स्थिति तब ही उत्पन्न होती है जब सही तरीके से मिलान नहीं किया गया हो। इस बारे में और पढ़ें: हमारी कुंडलियाँ मेल नहीं खातीं, क्या हम फिर भी शादी कर सकते हैं

कुंडली मिलान अगर सही से हो पाए तो आपके और आपके साथी के बीच संघर्ष और बहस हो सकती है लेकिन अगर विवाह से पहले ही किसी दोष के बारे में पता होता, तो उपाय एवं अन्य माध्यमों से इस प्रकार की स्थिति से बचाव हो सकता है। आपको या आपके साथी को स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हों इसके लिए कुंडली मिलान सहयोग करता है, कुंडली मिलान के अनुसार दोषों और दशाओं के बारे में पता लगा लिया जाए तो स्थिति को अपने अनुकूल कर पाना संभव होता है। अगर कुंडली के अनुसार ग्रह मेल नहीं खाते हैं, तो धन से जुड़े संकट भी हो सकते हैं, परिवारों के बीच का संघर्ष, बच्चों से संबंधित समस्याएं और भी बहुत कुछ तो इन सभी बातों को जन्म कुंडली मिलान से जान कर सही से निर्णय ले पाना संभव होता है। 

कुंडली कैसे मिलाएँ?

अब इन मुख्य बिंदुओं के बाद बात आती है की कुंडली मिलान कैसे किया जाए? तो इस प्रश्न के संदर्भ में हमने ऊपर ही कुछ मुख्य बातों को रखा है जिस पर ध्यान देने की आवश्यकता है। इसके अतिरिक्त कुंडली मिलान के लिए जरूरी है कि योग्य ज्योतिषी का संपर्क किया जाए। ऎसा इसलिए क्योंकि आज हम सभी कंप्यूटर इत्यादि के माध्यम से कुंडली मिलान करके फैसले लेते हैं जो बिलकुल भी उचित नहीं है अगर हम कुंडली मिलान में मशीन के उपयोग को श्रेष्ठ मान रहे हैं तो फिर हमें ज्ञान तो कहीं से भी मिल जाएगा लेकिन ज्ञान को सही से समझना और उसका अपने जीवन में उचित रूप से उपयोग करना यह कौन सिखाएगा तो यह केवल गुरु ज्ञानी जनों के माध्यम से ही संभव है। कुंडली मिलाने के लिए ज्योतिषी परामर्श का लाभ उठाना चाहिए। 

1. कुंडली मिलान में हमें मंगल दोष और उसकी स्थिति कैसी बन रही है।

2. कुंडली में शुक्र और गुरु ग्रह की स्थिति को देखना भी जरूरी होता है। 

3. कुंडली मिलान में दो लोगों की कुंडलियों के साथ हेल्थ मिलान भी जरूरी होता है ज्योतिष में स्वस्थ जीवन का आधार कुंडली के ग्रह नक्षत्रों की स्थिति को देख कर जाना जाता है जिससे यह समझने में मदद मिलती है दोनों साथी अपने जीवन में किसी प्रकार अच्छा जीवन जीने में सफल होंगे।

4. परिवारों के लोगों की स्थिति को समझना भी कुंडली मिलान का एक आवश्यक अंग बनता है। 

एक ज्योतिषी आपको उन सभी प्रश्नों के उत्तर दे सकता है जो कुंडली मिलान में आपके विवाह के सुख हेतु आवश्यक होंगे। विवाह की भविष्यवाणी में कुंडली मिलान करते समय आदर्श मिलान के लिए विभिन्न कारकों पर विचार किया जाता है कितने गुण मेल खाने चाहिए या फिर अगर कुंडलियाँ मेल नहीं खाती हैं तो क्या करें, कुंडली मिलान में कौन से योग अष्टकूट मिलान होने पर भी विवाह को कमजोर कर सकते हैं इन सभी बातों को ज्योतिषी सलाह के माध्यम से ही आप समझ पाएंगे और एक बेहतर वैवाहिक जीवन का आधार तय कर पाएंगे।  इस बारे में और पढ़ें:  मेरा मंगल दोष कैसे समाप्त होगा
 
शादी में एक अच्छे ज्योतिषी की क्या भूमिका होती है?

शादी विवाह के कार्यों में जब हम ज्योतिषी की भूमिका को देखते हैं तो यह बहुत ही विशेष है क्योंकि योग्य ज्योतिषी के परामर्श द्वारा आप अपने जीवन का महत्वपूर्ण निर्णय लेने में सफल होते हैं। 

शादी होना या विवाह में देरी का होना अथवा विवाह से जुड़े हुए सभी प्रकार के मुद्दों को एक योग्य ज्योतिषी का मार्गदर्शन दूर करने एवं सुलझाने में सहायक होता है   एक अच्छा ज्योतिष आपकी कुंडली के साथसाथ आपके जीवन साथी की जन्म कुंडली की जांच करके अच्छे और बुरे पहलुओं को सामने रखेगा। ज्योतिष हमें सही और गलत के बीच फैसला करने की सही दृष्टि देता है और यह दृष्टि हमें एक कुशल ज्योतिषी के माध्यम से ही मिल पाती है। एक ज्योतिषी से लगातार संपर्क बनाए रखते हुए आप अपने जीवन में आने वाली ग्रह दशाओं और गोचर के प्रभाव के अच्छे बुरे पक्ष को समझते हुए उचित ज्योतीषीय उपाय एवं सलाह के द्वारा शादीशुदा जीवन को बेहतर और सुख बनाए रखने में सफल होते हैं। 

किसी भी विशिष्ट मुद्दे के लिए, मेरे कार्यालय @ +91 9999113366 से संपर्क करें। भगवान आपको एक खुशहाल वैवाहिक आनंद प्रदान करें।

The post अगर मैं कुंडली मिलाए बिना शादी करूँ तो क्या मेरी शादी सफल होगी? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/bina-kundli-milan-ke-shadi-safal-hogi-kya/feed/ 0 3082
कुंडली मिलान का क्या महत्व है? https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ka-mahatva/ https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ka-mahatva/#respond Tue, 25 Jun 2024 04:50:42 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2675 अरेंज मैरिज एक ऐसी अवधारणा है जो भारत के लिए अद्वितीय है और यह हिंदू समुदाय के लिए एक बहुत ही सम्मानित परंपरा रही है। ग्रह हमारे व्यक्तित्व, स्वभाव और जीवन की घटनाओं को प्रभावित करते हैं, और इसलिए हर मौके पर हमें ग्रहों के कहे अनुसार चलना चाहिए। कुंडली मिलान/kundli milan या जन्म कुंडली...

The post कुंडली मिलान का क्या महत्व है? appeared first on KundliHindi.

]]>
अरेंज मैरिज एक ऐसी अवधारणा है जो भारत के लिए अद्वितीय है और यह हिंदू समुदाय के लिए एक बहुत ही सम्मानित परंपरा रही है। ग्रह हमारे व्यक्तित्व, स्वभाव और जीवन की घटनाओं को प्रभावित करते हैं, और इसलिए हर मौके पर हमें ग्रहों के कहे अनुसार चलना चाहिए। कुंडली मिलान/kundli milan या जन्म कुंडली मिलान एक ऐसी प्रथा है जिसका पालन जोड़े को उनके शेष जीवन के लिए वैवाहिक सद्भाव सुनिश्चित करने के लिए किया जाना चाहिए।

कुंडली मिलान का महत्व और आपको यह क्यों करना चाहिए?

भारतीय कुंडली की समीक्षा की गई शादियों की प्रभावकारिता में दृढ़ता से विश्वास करते हैं क्योंकि यह एक पूर्वानुमानित जीवन और सामंजस्यपूर्ण सह-अस्तित्व का वादा करता है। व्यक्तित्व विशेषताओं, आर्थिक स्थिति और वंश को जानने के लिए कुंडलियों की समीक्षा की जाती है जो यदि संगत पाई जाती हैं, तो विवाह की सफलता का कारण बन सकती हैं।

ज्योतिष जन्म कुंडली से ऐसे सुराग प्रदान करता है जो हमारे व्यावहारिक ज्ञान से परे हैं और हमें बताते हैं कि भविष्य में हमें किन चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। कुंडली मिलान संघर्ष को कम करता है और रिश्तों में प्यार बढ़ाता है।

केवल सामंजस्य ही नहीं, जीवन के बाकी क्षेत्रों का भी आकलन किया जाना चाहिए ताकि साथी शांतिपूर्वक सह-अस्तित्व में रह सकें। कुंडली मिलान/Kundli Matching जीवन के उन सभी क्षेत्रों का आकलन कर सकता है जो जीवन की गुणवत्ता पर प्रभाव डालते हैं। एक अच्छा ज्योतिषी विवाह के लिए भविष्यवाणी के अलावा, विवाह के बाद के करियर की भविष्यवाणी (आय की एक स्थिर धारा सुनिश्चित करता है), विवाह से पहले स्वास्थ्य की भविष्यवाणी (यह जोड़े को बच्चे पैदा करने से रोक सकता है) प्रदान कर सकता है। देखें कि कुंडली में व्यवसाय योग है या नहीं (विवाह के वित्तीय पहलू को स्थिर करता है)। तथ्यों को रिकॉर्ड पर रखने के लिए कुंडली मिलान के लिए एक ऑनलाइन रिपोर्ट प्राप्त करें ताकि संदेह होने पर वे काम आ सकें। आइए अब कुंडली मिलान से प्राप्त भविष्यवाणियों पर आते हैं।

विवाह के लिए कुंडली मिलान भविष्यवाणियां

लग्न और चंद्रमा के स्वामी, 7वें घर के स्वामी, युगल की कुंडली में शुक्र और बृहस्पति की स्थिति का मिलान संगतता निर्धारित करने के लिए किया जाता है।

दूसरा घर समृद्धि और पारिवारिक वंश को दर्शाता है। यदि यह प्रभावित है, तो व्यक्ति को थोड़ा अधिक सावधान रहना होगा। चौथा या सुख स्थान वैवाहिक सुख का प्रतिनिधित्व करता है और इसलिए इसे कमज़ोर नहीं होना चाहिए। इसी तरह, कुज को भी अच्छी स्थिति में होना चाहिए क्योंकि वह वैवाहिक सुख को नियंत्रित करता है। 7वां घर भी यही दर्शाता है और इसलिए इसे क्लेशों से रहित होना चाहिए। 12वां घर यौन सुखों का प्रतीक है और इसे प्रभावित नहीं होना चाहिए। नवमांश कुंडली आध्यात्मिक अनुकूलता के पहलू को दिखाने के लिए है, और यह भी कि क्या युगल अपने पिछले जन्मों में पति-पत्नी थे। दोनों कुंडलियों में लग्न समान होना चाहिए। यदि एक साथी का लग्न दूसरे के साथ त्रिकोण या केंद्र स्थिति में है, तो विवाह सुखमय होगा। आमतौर पर किसी अन्य संयोजन को प्रोत्साहित नहीं किया जाता है। त्रिंशांश विवाहेतर संबंध, विधवापन, व्यभिचार और यौन अनुकूलता का पता लगाता है और कुंडलियों के व्यापक मिलान के लिए इसे अवश्य देखना चाहिए। कुंडली मिलान भविष्यवाणियों को हमेशा निर्देशों के रूप में लिया जाना चाहिए जिनका पालन किया जाना चाहिए। अष्टकूट का भी अध्ययन करना चाहिए, जिसमें युगल के कूटों का मिलान करना आवश्यक है। कूट वर्ण, वश्य, तारा, योनि, राशि, भकूट, गण, नाड़ी हैं। इनमें से नाड़ी, भकूट और गण का मेल होना जरूरी है।

कुंडली मिलान प्रक्रिया में, यह महत्वपूर्ण है कि जोड़े के योग, ग्रह और सितारे भी मेल खाते हों।

साथ ही, कुंडली मिलान के साथ-साथ दोष साम्य, दीर्घायु और दशा संधि का विश्लेषण करना भी महत्वपूर्ण है। साथ ही, व्यक्ति को अवधि, अंतर्दशा, ग्रह दोष साम्य और आयु मिलान का भी ध्यान रखना चाहिए जो अष्टकूट मिलान के साथ किया जाना चाहिए।

अब शादी को सफल बनाने के लिए कुंडलियों का मिलान क्यों किया जाना चाहिए। आइए इसका अध्ययन करते हैं।

Book Consultation

विवाह के लिए कुंडली मिलान क्यों आवश्यक है?

इसलिए, दोनों भागीदारों की अनुकूलता, वित्तीय और करियर परिदृश्य, प्रजनन क्षमता और संभावित दोषों को निर्धारित करने के लिए भी कुंडलियों का मिलान किया जाता है। साथ ही, व्यक्ति को यह भी जानना होगा कि क्या कुंडली में दोष वास्तव में हटाने योग्य हैं। इसलिए, जोड़े के बीच मुलाकात की व्यवस्था करने से पहले, आपको कुंडली मिलान करवाना चाहिए।

कुंडली मिलान के लिए ऑनलाइन रिपोर्ट जोड़े के लिए एक वास्तविकता जाँच है कि क्या उनके पास एक ही तरंगदैर्ध्य, संगत स्वभाव और वैवाहिक भाग्य है जिससे वे एक दूसरे के साथ संतोषपूर्वक रह सकें।

अष्टकूट मिलान:

अष्टकूट मिलान जो कुंडली मिलान का एक हिस्सा है, आपको विवाह में जीवन काल और स्थिरता की डिग्री के बारे में संकेत देता है।

अष्टकूट प्रकार की कुंडली मिलान इसे एक आदर्श मिलन कहने के लिए कुल 36 अंक तय करता है। यदि कुंडली मिलान 36 अंक प्राप्त करता है, तो संगतता उत्कृष्ट है। कुल 18 अच्छा है जबकि 18 से कम दोनों भागीदारों के लिए वैवाहिक आराम की डिग्री को कम करता है।

निष्कर्ष:

मनुष्य बहुत जटिल हैं और उन्हें समझने में कुछ समय लगता है। दुर्भाग्य से, जब तक वे विवाह में एक साथ नहीं रहते, तब तक उनके पास एक-दूसरे को जानने का कोई मौका और समय नहीं होता। इसलिए, यह कुंडली मिलान ही है जो विवाह के अंतिम रूप से पहले साथी को गहराई से समझने में हमारी मदद करके हमारी सहायता करता है। किसी भी विशिष्ट मुद्दे के लिए, मेरे कार्यालय @ +91 9999113366 से संपर्क करें। भगवान आपको एक खुशहाल वैवाहिक आनंद प्रदान करें।

Read read more about:  Lifespan Prediction | Free kundali | Property Yoga | property prediction | Health Astrology

The post कुंडली मिलान का क्या महत्व है? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ka-mahatva/feed/ 0 2675
कुंडली में कितने दोष होते हैं? https://kundlihindi.com/blog/kundli-me-kaise-dekhe-dosh/ https://kundlihindi.com/blog/kundli-me-kaise-dekhe-dosh/#respond Tue, 23 Apr 2024 06:53:42 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2651 कुंडली दोष – ज्योतिष शास्त्र के दुनिया में लिया जाने वाला एक सामान्य किन्तु गंभीर वाक्य।  जिससे हम सभी भली भांति जागरूक हैं। लेकिन क्या होता है ये कुंडली दोष।  कुछ कुंडली दोष जैसे काल सर्प दोष, पितृ दोष, मांगलिक अथवा मंगल दोष, तो जाने पहचाने दोष हैं, लेकिन इनके इलावा भी एक जातक की...

The post कुंडली में कितने दोष होते हैं? appeared first on KundliHindi.

]]>
कुंडली दोष – ज्योतिष शास्त्र के दुनिया में लिया जाने वाला एक सामान्य किन्तु गंभीर वाक्य।  जिससे हम सभी भली भांति जागरूक हैं। लेकिन क्या होता है ये कुंडली दोष।  कुछ कुंडली दोष जैसे काल सर्प दोष, पितृ दोष, मांगलिक अथवा मंगल दोष, तो जाने पहचाने दोष हैं, लेकिन इनके इलावा भी एक जातक की कुंडली कुछ अहम् दोषों से ग्रसित हो सकती है।  आज इस आर्टिकल में हम कुंडली के अधिकतर दोषों का वर्णन करेंगे एवं आपको बताएंगे इनसे होने वाले प्रभाव।  किस तरह कुंडली के ये दोष आपको और आपसे जुड़े लोगों की ज़िन्दगियों को प्रभावित करते हैं, आज हम इन्ही पहलुओं पर नज़र डालेंगे।

जन्म तिथि से कुंडली दोष कैसे पता चलेगा?

जैसा की हम अक्सर बताते हैं, की कुंडली का पहला मूल जातक के जन्म से जुड़ा होता है।  जन्म का समय, जन्म का स्थान, जन्म का दिन और जन्म की घडी पे ग्रहों एवं नक्षत्रों की दशा ही कुंडली का सही आधार होती है।  तो अगर आप कुंडली के दोषों की बात कर रहे हैं, तो उसका उत्तर तो संभवतः जन्म तिथि में ही होगा।  जी हाँ, वैदिक ज्योतिष के विज्ञाता आपको बड़े ही आसानी से जन्म तिथि के द्वारा कुंडली दोष के बारे में बता सकते हैं।  इसके अतिरिक्त, आज कल तो बहुत सारी होरोस्कोप एप्प मौजूद हैं, जिनकी सहायता से आप अपनी जन्म तिथि डाल कर अपने कुंडली से जुडी किसी भी दोष के बारे में पता लगा सकते हैं।  एक अच्छी ज्योतिष एवं होरोस्कोप ऐप जैसे की कर्मा ज्योतिष ऐप – आपको हर तरह के सवालों के जवाब दे सकती है – विवाह से जुड़े सवाल हों, या जीवन काल की भविष्यवाणी 

आइये जानें कुंडली से जुड़े दोषों में बारे मेंविस्तार से

कई बार ऐसा होता है की जातक को पता ही नहीं होता की आखिर इतना परिश्रम करके भी उसे सफलता क्यों नहीं मिल रही, अथवा जितना भी कमा ले उसे कमी ही रहती है, एवं कई बार तो ऐसा भी होता है की सब कुछ होने के बाद भी मन तथा परिवार की तरफ से नकारात्मकता  रहती है।  कभी सोचा है ऐसा क्यों होता है।  ऐसा अक्सर कुंडली दोष के कारण ही होता है।  कई लोग इसे कर्मा का नाम देते हैं, तो कई कुछ और, लेकिन सही कारण आपकी कुंडली का निरिक्षण ही बता सकता है।  अगर किसी अच्छे ज्योतिषाचार्य से सम्पर्क किया जाये।  कुंडली दोष कई प्रकार के हो सकते हैं जैसे की कालसर्प दोष, गुरु चांडाल दोष, विष दोष, मंगल दोष, केन्द्राधिपति दोष, पितृ दोष।  इन सभी दोषों के प्रभाव अलग अलग होते हैं, और इनका निवारण भी अलग अलग तरह से होता है।

इन सभी दोषों में से मंगल दोष ऐसा दोष है जो विवाह में अड़चन पैदा अक्सर करता है। कुंडली में मंगल दोष का होना विवाह में देरी के साथ साथ, वैवाहिक जीवन में असहयोग एवं अशांति का भी कारन बन सकता है अगर समय रहते, इसका उपाय न किया जाये। चलिए जानें सभी कुंडली दोषों के बारे में –

मंगल दोष –  मंगल दोष के बारे में आपने सुना तो है, लेकिन क्या आप जानते हैं की कैसे लगता है मंगल दोष।  अगर आपकी कुंडली में मंगल ग्रह कुंडली के 4, 7, 8 एवं 12 भाव/घर में हो तो ये स्थिति मंगल दोष की बनती है।  मंगल दोष को ही मांगलिक दोष कहा जाता है।  मंगल दोष वाले जातक को हमेशा मंगल दोष  वाले पुरुष/स्त्री से ही विवाह करना चाहिए।  यदि इस दोष को अनदेखा करके विवाह कर लिया जाए तो वैवाहिक दंपत्ति को कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है।  जैसे की घर में कलह कलेश, दाम्पत्य सुख में कमी , विवाह के बाद यौन स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याएं इत्यादि।  इसलिए ये अनिवार्य है की मंगल दोष के लिए उपाय किया जाये।

कुंडली में मंगल दोष कैसे कटता है?

मंगल दोष अगर आपकी कुंडली में है तो उसके लिए निम्नलिखित उपाय करें जिससे आपको अवश्य लाभ महसूस होगा।

  • मंगल की पूजा करें। मंगल पूजा ग्रह शांति के लिए लाभकारी सिद्ध होगी।
  • मंगलवार को नियमित रूप से हनुमान मंदिर जाएं एवं प्रशाद बूंदी का अथवा बेसन लड्डू/बर्फी का लगाएं। हनुमान चालीसा का पाठ करें।
  • मंगलवार का व्रत भी करें।
  • किसी ज्योतिषी से मिल कर मंगल ग्रह शांति पूजा करवाएं एवं मूगा रत्न पहनें। तीन मुखी रुद्राक्ष भी धारण करना शुभ होगा।
  • मंगल दोष कुंडली में है तो विवाह से पूर्व किसी जगह पे नीम का वृक्ष ज़रूर लगाएं। इस वृक्ष को 43 दिन पानी इत्यादि दें। ये उपाय मंगल दोष शान्ति के लिए सिद्ध उपाय है।

कालसर्प दोष – ग्रहों एवं नक्षत्रों की दशा आपके जन्म के समय कैसे है, इसे से कुंडली में कालसर्प दोष बनता है।  राहु और केतु का एक दुसरे के सामने होना एवं बाकि ग्रहों का एक तरफ होने से कुंडली में काल सर्प दोष बनता है।  इस दोष की वजह से जातक को जीवनकाल में कई सारे दुखों एवं असफलताओं का सामना करना पड़ता है।  कालसर्प दोष से ग्रसित जातक को शिवजी की उपासना नियमित रूप से करनी चाहिए।  उसके साथ साथ, एक अच्छे ज्योतिषी से भी समपर्क कर उपाय करने चाहिए जिससे की जीवन की कठिनाईयों को कम किया जा सकता है।

विष दोष – कुंडली में अगर शनि एवं चन्द्रमा एक साथ एक घर में विराजमान हों तो इससे विष दोष बनता है।  विष दोष का प्रभाव भी अशांति एवं असफलताओं को उत्पन्न करता है।  इस दोष के निवारण एवं शांति हेतु  जातक को नागपंचमी के दिन व्रत करना लाभदायक सिद्ध होगा।  इसके अतिरिक्त, हर पंचमी को अगर व्रत किया जाए तो बहुत अच्छा होगा।

गुरु चांडाल दोष – अगर किसी कुंडली में गुरु राहु के साथ आ जाये तो इससे गुरु चांडाल दोष बनता है।  ऐसा जातक इस दोष के प्रभाव के कारण काफी तकलीफ से भरा जीवन जीता है।  इस दोष के प्रभाव को कम करने का सबसे बेहतर उपाय है की राहु के मंतोच्चारण कर एकाग्रता से ध्यान करें वो भी गुरुवार के दिन।  ऐसा करने से आपकी ज़िन्दगी में शांति आएगी और आप बेहतर महसूस करेंगे।

केन्द्राधिपति कुंडली दोष – कुंडली में केंद्र भाव पहला, सातवां, एवं दसवां घर होता है। यदि कन्या एवं मिथुन राशि वाले जातकों की जन्म कुंडली में गुरु चौथे, दसवें एवं सातवें घर में विराजमान हों तो उससे बनता है केन्द्राधिपति दोष।  इसके साथ साथ यदि धनु एवं मीन राशि के जातकों की कुंडली में पहले, चौथे, सातवें एवं दसवें घर में बुध विराजमान हों तो भी केन्द्राधिपति दोष बनता है कुंडली में।

पितृ दोष – जातक जिनकी कुंडली के नौवें भाव/घर में शुक्र, बुध अथवा राहु बैठे हों तो ये दशा पितृ दोष पैदा करती है।  इसके साथ साथ यदि दशम भाव/घर में बृहस्पति विराजमान हों तो भी पितृ दोष बनता है।  यही नहीं, कुंडली में यदि सूर्य के ऊपर राहु/केतु एवं शनि की यदि दृष्टि आये तो इससे जातक पे पितृ ऋण की दशा बनती है।

आपको अपनी कुंडली मिलान की जांच करनी चाहिए क्योंकि वहां हम शादी से पहले कुंडली दोष की जांच कर सकते हैं। हैप्पी मैरिज लाइफ के लिए उनका शमदान शाम पे करा सकते है। या अगर आप भी अपने जीवन में किसी तरह की कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं, लेकिन उस कठिनाई के पीछे के कारण से अज्ञात हैं, तो आज ही अपनी कुंडली को किसी अच्छे ज्योतिषी से दिखवाएं। कुंडली दोष का होना शायद आपकी ज़िन्दगी के कष्टों का एक कारण हो सकता है। तो उस दोष को जान, उसका समाधान आज ही करवाएं।

Read more about: Health Problems in Kundli | Property Prediction Buy and Selling

The post कुंडली में कितने दोष होते हैं? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kundli-me-kaise-dekhe-dosh/feed/ 0 2651
विवाह में कुंडली मिलान के लिए विशेषज्ञ युक्तियाँ | https://kundlihindi.com/blog/vivah-me-kundli-milan-ki-visheshta/ https://kundlihindi.com/blog/vivah-me-kundli-milan-ki-visheshta/#respond Sat, 02 Mar 2024 10:57:34 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2621 हिंदू धर्म में विवाह के लिए आज भी कुंडली मिलान को ही प्राथमिकता दी जाती है। कुंडली मिलान, जिसे अष्टकूट मिलान के रूप में भी जाना जाता है, सदियों से चली आ रही एक परंपरा है जिसमें वर और वधू के गुण मिलान करके यह निष्कर्ष निकाला जाता है कि वे दोनों एक दूसरे के...

The post विवाह में कुंडली मिलान के लिए विशेषज्ञ युक्तियाँ | appeared first on KundliHindi.

]]>
हिंदू धर्म में विवाह के लिए आज भी कुंडली मिलान को ही प्राथमिकता दी जाती है। कुंडली मिलान, जिसे अष्टकूट मिलान के रूप में भी जाना जाता है, सदियों से चली आ रही एक परंपरा है जिसमें वर और वधू के गुण मिलान करके यह निष्कर्ष निकाला जाता है कि वे दोनों एक दूसरे के लिए उपयुक्त हैं या नहीं। विवाह की सफलता इस बात पर निर्भर करती है कि पार्टनर एक-दूसरे को कितनी अच्छी तरह समझते हैं और सहयोग करते हैं, जिसे अनुकूलता कहा जाता है। ज्योतिष में, कुंडली मिलान को आठ कूट यानि श्रेणियों के तहत जांचा जाता है इसलिए इसे अष्टकूट मिलान भी कहते हैं। प्रत्येक कूट या श्रेणी वित्तीय, आध्यात्मिक, शारीरिक, मानसिक और यौन अनुकूलता जैसे विभिन्न पहलुओं की जांच करता है। एक खुशहाल वैवाहिक जीवन के लिए कुंडली मिलान मुख्य आधार माना जाता है।

यह एक स्कोरिंग सिस्टम की तरह काम करता है। अष्टकूट मिलान में कुल 36 अंक का स्कोर होता है, जिसमें से कुंडली मिलान/kundli matching करके अंक प्राप्त करने की आवश्यकता है। यदि अष्टकूट मिलान का स्कोर 18 से अधिक होता है, तो इसे विवाह के लिए एक अच्छा मैच माना जाता है। यदि अष्टकूट मिलान स्कोर 18 से कम आता है तो यह विवाह उपयुक्त नहीं हो सकता है।

– कुंडली मिलान में भावी भागीदारों की कुंडली का मूल्यांकन करके उनके स्वभाव, मूल्यों और जीवन लक्ष्यों के संबंध में अनुकूलता का आकलन करना महत्वपूर्ण है।

– विचार करने के लिए एक और महत्वपूर्ण पहलू गुण मिलान विश्लेषण है, जो कुंडली में विभिन्न ज्योतिषीय कारकों के संरेखण का मूल्यांकन करता है।

– अष्टकूट अनुकूलता भी महत्वपूर्ण है, जो कुंडली मिलान में जीवन के आठ महत्वपूर्ण पहलुओं पर विचार करता है।

– यदि कुंडली में किसी दोष की पहचान की जाती है, जैसे कि मंगल दोष या नाड़ी दोष, तो उनके प्रभाव को कम करने के लिए उपयुक्त उपचार या समाधान खोजना महत्वपूर्ण है।

– एक अनुभवी ज्योतिषी से परामर्श करने से कुंडली के विस्तृत विश्लेषण के आधार पर व्यक्तिगत अंतर्दृष्टि और सलाह मिल सकती है।

– कुंडली मिलान के अलावा, भावनात्मक अनुकूलता, संचार और आपसी समझ एक सफल विवाह के लिए महत्वपूर्ण कारक हैं।

– आपसी समझ और अनुकूलता सुनिश्चित करने के लिए अपनी अपेक्षाओं, विश्वासों और चिंताओं के बारे में अपने साथी के साथ खुली और ईमानदार बातचीत करें।

– इन विशेषज्ञ युक्तियों का पालन करके और विभिन्न कारकों पर विचार करके, आप विवाह में कुंडली मिलान के बारे में अधिक जानकारीपूर्ण निर्णय ले सकते हैं।

क्या विवाह के लिए कुंडली मिलान आवश्यक है?

जी हां, भारतीय संस्कृति के अलावा कई संस्कृतियों में विवाह के लिए कुंडली मिलान एक महत्वपूर्ण अनुष्ठान माना जाता है। इसमें भावी जोड़े की अनुकूलता का आकलन करने और वैवाहिक रिश्तों में उत्पन्न होने वाली किसी भी संभावित समस्या की पहचान करने के लिए उनके ज्योतिषीय चार्ट की जांच की जाती है। कुंडली मिलान एक खुशहाल वैवाहिक जीवन की गारंटी नहीं देता, लेकिन यह मानसिक शांति जरूर देता है। सुखी विवाह के लिए उपयुक्त साथी ढूंढते समय, किसी ज्योतिषी से परामर्श करना जो कारक, चंद्र राशि, नक्षत्र और गुण स्कोर का सावधानीपूर्वक विश्लेषण करता है, अत्यधिक प्रभावी हो सकता है। ज्योतिषीय विश्लेषण साधारण गुण मिलान स्कोर से आगे की भी बहुत विस्तृत जानकारी दे सकता है।

विवाह के लिए कुंडली मिलान कैसे करें?

विवाह के लिए कुंडली मिलान की जाँच में कई चरण शामिल होते हैं:

  1. जन्म विवरण: संभावित वर और वधू के जन्म की तारीख, समय और स्थान सहित सटीक जन्म विवरण इकट्ठा करें।
  2. कुंडली बनाएं: ज्योतिषीय सॉफ़्टवेयर का उपयोग करके या किसी ज्योतिषी से परामर्श करके दोनों व्यक्तियों की जन्म कुंडली बनाएं।
  3. गुण मिलान का आकलन करें: गुण मिलान करें, जिसमें वर और वधू के गुणों का मिलान शामिल है। यह आम तौर पर अष्टकूट विधि का उपयोग करके किया जाता है, जो विभिन्न संगतता पहलुओं को अंक प्रदान करता है।
  4. कुंडली के दोषों की जांच करें: किसी भी कुंडली में मंगल दोष, नाड़ी दोष, या भकूट दोष जैसे दोषों की पहचान करें। दोष विवाह में संभावित चुनौतियों का संकेत दे सकते हैं और उपचार या आगे के विश्लेषण की आवश्यकता हो सकती है।
  5. 5. ग्रहों की स्थिति का विश्लेषण करें: विवाह और अनुकूलता पर उनके प्रभाव को समझने के लिए कुंडली में मंगल, शुक्र, और बृहस्पति जैसे ग्रहों की स्थिति की जांच करें।
  6. अन्य कारकों पर विचार करें: चंद्रमा और लग्न की स्थिति, साथ ही कुंडली में तत्वों और गुणों के समग्र संतुलन जैसे कारकों को ध्यान में रखें।
  7. किसी ज्योतिषी से परामर्श लें: किसी अनुभवी ज्योतिषी से मार्गदर्शन लें जो कुंडलियों की व्याख्या कर सके, अनुकूलता का आकलन कर सके और मिलान प्रक्रिया में बताई गई किसी भी चुनौती के लिए अंतर्दृष्टि या उपाय प्रदान कर सके।
  8. निष्कर्षों पर चर्चा करें: कुंडली/kundli के मिलान के परिणामों को दोनों परिवारों के साथ साझा करें और किसी भी संभावित चिंता या अनुकूलता के क्षेत्रों पर चर्चा करें। विवाह करना है या नहीं करना है इस बात का निर्णय दोनों परिवार आपस में बातचीत करके लें।

वर और वधू इन चरणों का पालन करके और जानकार व्यक्तियों से परामर्श करके अपनी अनुकूलता के बारे में बहुमूल्य जानकारी प्राप्त कर सकते हैं और अपने विवाह से जुड़े सूचित निर्णय ले सकते हैं।

Read more about: How to Read Kundli in Hindi | Child Astrology

The post विवाह में कुंडली मिलान के लिए विशेषज्ञ युक्तियाँ | appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/vivah-me-kundli-milan-ki-visheshta/feed/ 0 2621
क्या लव मैरिज में भी जरूरी है कुंडली मिलाना? https://kundlihindi.com/blog/kya-prem-vivah-me-jaruri-hai-kundli-milan/ https://kundlihindi.com/blog/kya-prem-vivah-me-jaruri-hai-kundli-milan/#respond Fri, 23 Feb 2024 09:45:32 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2615 ज्योतिष शास्त्र में कुंडली मिलान को विवाह के लिए एक महत्वपूर्ण पहलू माना जाता है। यह माना जाता है कि कुंडली मिलान से वर-वधू के बीच तालमेल और अनुकूलता का पता चलता है।  कुंडली मिलान का महत्व भारतीय संस्कृति में विवाह को एक पवित्र बंधन माना जाता है। यह दो आत्माओं का मिलन होता है जो जीवन भर साथ रहने का वादा करते हैं। शादी के बाद जीवन में कई...

The post क्या लव मैरिज में भी जरूरी है कुंडली मिलाना? appeared first on KundliHindi.

]]>
ज्योतिष शास्त्र में कुंडली मिलान को विवाह के लिए एक महत्वपूर्ण पहलू माना जाता है। यह माना जाता है कि कुंडली मिलान से वर-वधू के बीच तालमेल और अनुकूलता का पता चलता है।

 कुंडली मिलान का महत्व

भारतीय संस्कृति में विवाह को एक पवित्र बंधन माना जाता है। यह दो आत्माओं का मिलन होता है जो जीवन भर साथ रहने का वादा करते हैं। शादी के बाद जीवन में कई उतार-चढ़ाव आते हैं, लेकिन यदि पति-पत्नी के बीच तालमेल अच्छा हो तो वे हर मुश्किल का सामना आसानी से कर सकते हैं।

कुंडली मिलान ज्योतिष शास्त्र का एक महत्वपूर्ण पहलू है ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, हर व्यक्ति की कुंडली में ग्रहों की स्थिति अलग-अलग होती है। इन ग्रहों की स्थिति का प्रभाव व्यक्ति के स्वभाव, व्यक्तित्व और जीवन पर पड़ता है। कुंडली मिलान के माध्यम से यह पता लगाया जाता है कि दो व्यक्तियों की कुंडली में ग्रहों की स्थिति कितनी अनुकूल है।

लव मैरिज में भी जरूरी है कुंडली मिलान

आजकल, लव मैरिजआम बात हो गई है। लेकिन, लव मैरिज में भी कुंडली मिलान महत्वपूर्ण है। प्यार में होने के बावजूद, दो व्यक्तियों की कुंडली में कुछ ऐसे दोष हो सकते हैं जो उनके वैवाहिक जीवन में समस्या पैदा कर सकते हैं। कुंडली मिलान के माध्यम से, इन दोषों का पता लगाया जा सकता है और उनके लिए उपाय भी किए जा सकते हैं।

कुछ कारण:

  • अनुकूलताका पता: कुंडली मिलान से वर-वधू के बीच तालमेल और अनुकूलता का पता चलता है।
  • संभावितसमस्याओं का अनुमान: कुंडली मिलान से वैवाहिक जीवन में आने वाली संभावित समस्याओं का अनुमान लगाया जा सकता है।
  • उपायोंका सुझाव: ज्योतिष कुंडली मिलान के आधार पर वैवाहिक जीवन को बेहतर बनाने के लिए उपाय भी सुझा सकते हैं।

कुंडली मिलान  करने से वरवधू के जीवन पर प्रभाव

कुंडली मिलान न करने से वर-वधू के जीवन पर कई तरह के नकारात्मक प्रभाव पड़ सकते हैं। इनमें शामिल हैं:

  • पतिपत्नीके बीच अनबन और झगड़े: कुंडली/kundli में यदि ग्रहों की स्थिति अनुकूल नहीं है, तो वर-वधू के बीच अक्सर अनबन और झगड़े होते रहते हैं।
  • शादीमें देरी: यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में कोई दोष है तो उसकी शादी में देरी हो सकती है।
  • स्वास्थ्यसंबंधी समस्याएं: कुंडली में यदि कोई ग्रह अशुभ होते हैं, तो वर-वधू को स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं।
  • आर्थिकसमस्याएं: कुंडली में यदि कोई ग्रह अशुभ होते हैं, तो वर-वधू को वित्तीय समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
  • संतानसुख में बाधा: कुंडली में यदि कोई ग्रह अशुभ होते हैं, तो वर-वधू को संतान सुख में बाधा आ सकती है।

डॉ. विनय बजरंगी का सुझाव

प्रसिद्ध ज्योतिषी डॉ. विनय बजरंगी का कहना है कि लव मैरिज में भी कुंडली मिलान जरूर करवाना चाहिए। उनका कहना है कि कुंडली मिलान/Horoscope Matching एक वैज्ञानिक प्रक्रिया है जो दो व्यक्तियों की अनुकूलता का आकलन करने में मदद करती है।

निष्कर्ष

कुंडली मिलान एक महत्वपूर्ण ज्योतिषीय पहलू है जो वर-वधू के बीच तालमेल और अनुकूलता का पता लगाने में मदद करता है। लव मैरिज में भी कुंडली मिलान महत्वपूर्ण है। कुंडली मिलान न करने से वर-वधू के जीवन पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, विवाह से पूर्व कुंडली मिलान करवाना एक समझदारी भरा निर्णय है। यदि आप लव मैरिज/love marriage करने की योजना बना रहे हैं, तो ज्योतिषी से सलाह लेना और कुंडली मिलान करवाना उचित होगा।

Read more about: Read Kundli Hindi

The post क्या लव मैरिज में भी जरूरी है कुंडली मिलाना? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kya-prem-vivah-me-jaruri-hai-kundli-milan/feed/ 0 2615
नाम और जन्मतिथि के आधार पर निःशुल्क कुंडली मिलान! https://kundlihindi.com/blog/free-kundli-milan-by-name-and-date-of-birth/ https://kundlihindi.com/blog/free-kundli-milan-by-name-and-date-of-birth/#respond Wed, 17 Jan 2024 07:56:20 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2548 भारतीय संस्कृति में विवाह को एक बहुत ही पवित्र रिश्ता माना जाता है। विवाह करने के लिए कुंडली मिलान को बेहद ही अहम माना जाता है। कुंडली मिलान जिसे गुण मिलान या अष्टकूट मिलान भी कहा जाता है, एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें वर और वधू की कुंडली का मिलान किया जाता है। कुंडली मिलान...

The post नाम और जन्मतिथि के आधार पर निःशुल्क कुंडली मिलान! appeared first on KundliHindi.

]]>
भारतीय संस्कृति में विवाह को एक बहुत ही पवित्र रिश्ता माना जाता है। विवाह करने के लिए कुंडली मिलान को बेहद ही अहम माना जाता है कुंडली मिलान जिसे गुण मिलान या अष्टकूट मिलान भी कहा जाता है, एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें वर और वधू की कुंडली का मिलान किया जाता है। कुंडली मिलान को एक सुखी वैवाहिक जीवन की नींव माना जाता है। इसमें दोनों पक्षों के गुणों का मिलान होता है और उस आधार पर यह तय किया जाता है कि यह विवाह हो सकता है या नहीं?

आज भी जब विवाह की बात आती है तो कुंडली मिलान को ही प्राथमिकता दी जाती है। कुंडली मिलान को एक सुखी दांपत्य जीवन का आधार माना जाता है। यदि वर-वधू की कुंडली मिलती है तभी विवाह संपन्न किया जाता है क्योंकि विवाह के लिए कुंडली मिलान आवश्यक माना जाता है।

फ्री कुंडली मिलान

एक सफल वैवाहिक जीवन के लिए वर और वधू के बीच गुणों का मिलना बेहद ही जरूरी होता है। अष्टकूट के सभी गुणों को मिलाकर कुल 36 गुण बनते हैं।

इन सभी के अंको का कुल योग 36 होता है यदि इसमें से 18 या फिर उससे ज्यादा गुण मिलते हैं तभी विवाह शुभ माना जाता है।

  • 18 से अधिक गुण मिलने पर मिलान मध्यम माना जाता है।
  • 21 से अधिक गुण मिलना विवाह के लिए बेहद ही शुभ माना जाता है।
  • 18 से कम गुणों का मिलना ठीक नहीं माना जाता है।

यदि आप भी अपनी जन्म तिथि से निशुल्क कुंडली मिलान करना चाहते हैं, तो निशुल्क कुंडली मिलान कैलकुलेटर पर क्लिक करें। आपको अपनी और अपने पार्टनर की जन्म से जुड़ी जानकारी जैसे जन्म तिथि, जन्म स्थान, जन्म समय इसमें भरना होगा। कुंडली मिलान कैलकुलेटर आपको तुरंत आपका गुण मिलान स्कोर प्रदान कर देगा।

नाम और जन्मतिथि से कुंडली मिलान करना एक वैदिक ज्योतिषीय प्रक्रिया है। जन्मतिथि से कुंडली मिलान करने के लिए वर और वधू दोनों की जन्मतिथि, जन्म का सटीक समय और जन्म स्थान शामिल होता है। इस जानकारी का उपयोग करके जन्म कुंडली तैयार की जाती है। जन्मतिथि के अनुसार कुंडली मिलान करके वर और वधू के बीच की अनुकूलता और प्रतिस्पर्धा के बारे में पता लगाया जा सकता है। कुंडली मिलान का मुख्य उद्देश्य वर और वधू के बीच एक उत्तम वैवाहिक जीवन सुनिश्चित करना होता है।

कुंडली मिलान में, ज्योतिषी अनुकूलता का आकलन करने और एक सफल और सामंजस्यपूर्ण रिश्ते की संभावना का अनुमान लगाने के लिए कुंडली का विश्लेषण करते हैं। इस प्रक्रिया में व्यक्तित्व, करियर और पारिवारिक जीवन जैसे जीवन के पहलुओं के बारे में जानकारी प्रदान करने के लिए जन्म के समय सूर्य, चंद्रमा और ग्रहों की स्थिति जैसे विभिन्न कारकों की जांच की जाती है।

कुंडली मिलान में कितने गुणों का मिलान करना चाहिए?

कुंडली मिलान वर और वधू दोनों के कुंडली के आधार पर गुणों का मिलान होता है। कुंडली मिलान के आधार पर ही यह तय होता है कि विवाह होगा या नहीं होगा। ज्योतिष शास्त्र में विवाह के मिलान के लिए कुल 36 गुणों के बारे में बताया गया है। कुंडली मिलान को अष्टकूट गुण मिलान भी कहा जाता है। अष्टकूट मिलान 8 अलग-अलग कारकों या गुणों के आधार वर और वधू की अनुकूलता का आकलन करने के लिए किया जाता है। हर गुण का अपना एक अलग अंक होता है। इसके आधार पर ही यह तय किया जाता है कि कुल कितने गुण मिलते हैं। आइए जानते हैं क्या होते है वो अष्टकूट गुण और उनके कितने अंक दिए जाते हैं:

कूट –  अंक

वर्ण  – 1

वश्य – 2

तारा – 3

योनि – 4

ग्रह मैत्री  – 5

गण  – 6

भकूट – 7

नाड़ी – 8

यदि कुंडली मिलान में 18 से कम गुण आते हैं, तो विवाह नहीं करना चाहिए। ऐसे विवाह की अवधि बेहद ही कम होती है और इसमें कलह-क्लेश बना रहता है इसलिए विवाह से पहले कुंडली मिलान बेहद ही आवश्यक माना जाता है।

यदि कुंडली मिलान हो तो क्या होगा?

कुंडली मिलान में 18 से कम या अधिक स्कोर मिल सकता है लेकिन तुरंत निर्णय लेने में जल्दबाजी न करें। कुंडली मिलान/kundli matching एक विस्तृत प्रक्रिया है, और इसके लिए आगे की जांच की आवश्यकता होती है। मान लीजिए आपकी कुंडली मेल नहीं खाती; आपको अब क्या करना चाहिए? यहां, हम यह कहना चाहते हैं कि कम अंक का मतलब विवाह प्रस्ताव को “नहीं” कहना नहीं है। कुंडली में कई दोष ऐसे होते हैं जो रद्द हो सकते हैं, जिससे आपको अधिक अंक मिल सकते हैं। एक अनुभवी ज्योतिषी आपका वास्तविक स्कोर प्राप्त करने के लिए नक्षत्र स्तर पर जन्म कुंडली की जांच करता है!

आप अपनी कुंडली मिलान की स्पष्ट तस्वीर पाने के लिए डॉ. विनय बजरंगी से परामर्श ले सकते हैं। चाहे आपके गुण मिलान स्कोर अधिक हो या कम, वास्तविक सच्चाई जानने के लिए ज्योतिषीय परामर्श आवश्यक है।

कम अंक का यह मतलब नहीं है कि आपको विवाह के प्रस्ताव को अस्वीकार कर देना चाहिए। आपके गुणों की जाँच के बाद, अगले चरण में कुंडलियों का गहन विश्लेषण शामिल होता है। लग्न राशि, चंद्र राशि और संबंधित ग्रहों के नक्षत्र के आधार पर अंक प्राप्त किए जा सकते हैं। एक अनुभवी ज्योतिषी विभिन्न दोषों का आकलन करके यह निर्धारित कर सकता है कि विवाह प्रस्ताव स्वीकार किया जाना चाहिए या नहीं।

भले ही गुना मिलान में आपका स्कोर अच्छा हो, फिर भी आगे की जांच करना महत्वपूर्ण है। कभी-कभी, कुंडली में छुपे हुए दोष उभर सकते हैं और यदि समय पर उनका समाधान नहीं किया गया तो विवाह को नुकसान पहुंच सकता है, जिससे आपसी क्लेश, अलगाव या तलाक हो सकता है।

प्रेम विवाह में कुंडली मिलान की अहमियत:

कुंडली मिलान प्रेम विवाह में भी बहुत अहम भूमिका निभाता है। भले ही पार्टनर एक-दूसरे से बहुत प्यार करते हों, यह विवाह के बाद प्यार के रिश्तों में बदलाव आ सकते हैं। ज्योतिषीय में, कुंडली का 5वां घर रोमांस का प्रतीक होता है, जबकि 7वां घर विवाह का प्रतिनिधित्व करता है। एक अच्छा 5वां घर एक अच्छे 7वें घर की गारंटी नहीं देता है, जिससे संभावित रूप विवाह में परेशानी आ सकती है। ऐसे में विवाह पूर्व और विवाह पश्चात परामर्श सहायक हो सकता है, जो सुखी वैवाहिक जीवन के लिए प्रभावी उपाय और कर्मा करेक्शन प्रदान करता है।

Read more about: निदैक राशिफल/daily horoscope | वार्षिक राशिफल 2024 /Varshik Rashifal 2024

The post नाम और जन्मतिथि के आधार पर निःशुल्क कुंडली मिलान! appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/free-kundli-milan-by-name-and-date-of-birth/feed/ 0 2548
यदि कुंडली मिलान न हो तो क्या होगा? https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-na-hone-per-kya-hoga/ https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-na-hone-per-kya-hoga/#respond Thu, 11 Jan 2024 06:54:29 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2545 कुंडली मिलान या गुण मिलान भारतीय विवाह का एक महत्वपूर्ण हिस्सा माना जाता है। आज भी विवाह के लिए कुंडली मिलान को ही प्राथमिकता दी जाती है। यह वर और वधू के बीच विवाह उपरांत अनुकूलता की जांच करने में मदद करता है। ज्योतिष में कुंडली मिलान वैवाहिक जीवन से जुड़ी 100% सटीक परिणाम देता...

The post यदि कुंडली मिलान न हो तो क्या होगा? appeared first on KundliHindi.

]]>
कुंडली मिलान या गुण मिलान भारतीय विवाह का एक महत्वपूर्ण हिस्सा माना जाता है। आज भी विवाह के लिए कुंडली मिलान को ही प्राथमिकता दी जाती है। यह वर और वधू के बीच विवाह उपरांत अनुकूलता की जांच करने में मदद करता है। ज्योतिष में कुंडली मिलान वैवाहिक जीवन से जुड़ी 100% सटीक परिणाम देता है, लेकिन यह इस बात पर निर्भर करता है कि कुंडली मिलान किस तरह किया गया है।

आजकल देखा गया है कि लोग विवाह प्रस्ताव पर ‘हां’ या ‘नहीं’ कहने के लिए किसी भी ऑनलाइन कुंडली मिलान सॉफ़्टवेयर का उपयोग करते हैं। उनकी एकमात्र चिंता गुण मिलान के स्कोर को लेकर होती है। गुण मिलान स्कोर को देखना बड़ी तस्वीर का एक हिस्सा मात्र है। ज्योतिष शास्त्र में, 36 गुण मिलान अंक वाली कुंडली को भी अस्वीकार कर दिया जा सकता है, और कम अंक वाली कुंडली को स्वीकार किया जा सकता है। तो, यह केवल कुंडली के स्कोर के बारे में नहीं है बल्कि कुंडली मिलान में विचार करने के लिए और भी बहुत कुछ है; आइए हम आपको बताते हैं पूरा सच!

कुंडली मिलान

कुंडली मिलान को अष्टकूट गुण मिलान भी कहा जाता है। कुंडली मिलान में वर और वधू दोनों की कुंडली के आधार पर गुणों का मिलान होता है। कुंडली मिलान/kundli matching के आधार पर ही यह तय होता है कि विवाह होगा या नहीं होगा। ज्योतिष शास्त्र में विवाह के मिलान के लिए कुल 36 गुणों के बारे में बताया गया है। अष्टकूट मिलान 8 अलग-अलग कारकों या गुणों के आधार वर और वधू की अनुकूलता का आकलन करने के लिए किया जाता है। हर गुण का अपना एक अलग अंक होता है। इसके आधार पर ही यह तय किया जाता है कि कुल कितने गुण मिलते हैं। आइए जानते हैं क्या होते है वो अष्टकूट गुण और उनके कितने अंक दिए जाते हैं:

कूट  अंक

वर्ण  – 1

वश्य – 2

तारा – 3

योनि – 4 

ग्रह मैत्री  – 5 

गण  – 6

भकूट – 7 

नाड़ी – 8 

इन सभी के अंको का कुल योग 36 होता है यदि इसमें से 18 या फिर उससे ज्यादा गुण मिलते हैं तभी विवाह शुभ माना जाता है।

  • 18 से अधिक गुण मिलने पर मिलान मध्यम माना जाता है।
  • 21 से अधिक गुण मिलना विवाह के लिए बेहद ही शुभ माना जाता है।
  • 18 से कम गुणों का मिलना ठीक नहीं माना जाता है।

कुंडली मिलान का उद्देश्य वर और वधू के लिए उज्ज्वल भविष्य की कामना है। अगर कुंडली मिलान अच्छा हो तो यह एक सुखद वैवाहिक जीवन सुनिश्चित करता है।

ज्योतिष में, कुछ ज्योतिषीय संयोजन होते हैं जो किसी व्यक्ति की जन्म कुंडली में मौजूद दोषों को रद्द या संतुलित कर सकते हैं। उदाहरण के लिए, यदि किसी की कुंडली में मांगलिक दोष है, तो उनके पार्टनर की कुंडली में विशिष्ट ग्रह संयोजन इसे रद्द कर सकते हैं। यही बात नाड़ी दोष या भकूट दोष के लिए भी लागू होती है, जो नक्षत्र के आधार पर रद्द हो सकता है। विवाह प्रस्ताव पर निर्णय लेने से पहले, लग्नेश, चंद्र राशि या नक्षत्र जैसे कारकों की जांच करना महत्वपूर्ण होता है।

इसलिए, गुण मिलान स्कोर के आधार पर केवल हां या ना कहना पर्याप्त नहीं है। कुंडली मिलान में सटीक परिणामों के लिए अन्य पहलुओं पर सावधानीपूर्वक विचार करने की भी आवश्यकता होती है। कुंडली के गुण और दोष की अच्छी से जांच पड़ताल किए बिना, एक अच्छी तरह से मेल खाने वाली कुंडली भी एक परेशान विवाह का कारण बन सकती है।

केवल एक अनुभवी ज्योतिषी ही प्रदान कुंडली मिलान को वैज्ञानिक दृष्टिकोण प्रदान कर सकता है। वह जन्म कुंडली/kundali का सावधानीपूर्वक विश्लेषण करके सुझाव दे सकता है कि क्या आप किसी के लिए उपयुक्त साथी हैं। केवल गुण मिलान के स्कोर के आधार पर विवाह प्रस्ताव पर हां या ना कहना आधी-अधूरी सलाह है। किसी भी व्यक्ति को विवाह का फैसला बहुत ही सोच-समझकर लेना चाहिए क्योंकि यह जीवन बदलने वाला निर्णय होता है।

क्या कुंडली मिलान होने पर भी विवाह किया जा सकता है?

यदि आपकी कुंडली में गुण मिलान स्कोर 18 से कम हो, तो कई ज्योतिष आपको विवाह को नकार सकते हैं। लेकिन ऐसा हर बार जरूरी नहीं, हो सकता है आपकी कुंडली मेल न खाए, लेकिन फिर भी आप विवाह कर सकते हैं! हां, कम अंक का मतलब विवाह प्रस्ताव को अस्वीकार करना नहीं है। एक बार जब हम गुणों का मिलान कर लेते हैं, तो अगला कदम कुंडलियों की गहराई से जांच करना होता है। यहां, आप संबंधित ग्रहों की लग्न राशि, चंद्र राशि और नक्षत्र के आधार पर अंक प्राप्त कर सकते हैं। केवल एक अनुभवी ज्योतिषी ही विवाह प्रस्ताव को स्वीकृति देने के लिए विभिन्न दोषों के रद्दीकरण का विश्लेषण कर सकता है। इसके अलावा, अगर आपको गुण मिलान में अच्छा स्कोर मिला है, तो भी इसे आगे जांचने की जरूरत है। कभी-कभी, दोष अंदर ही अंदर छिपे होते हैं और यदि सही समय पर निदान नहीं किया गया, तो विवाह को नुकसान पहुंच सकता है – जिससे अलगाव या तलाक/divorce yoga in kundli हो सकता है।

प्रेम विवाह में कुंडली मिलान

चाहे प्रेम विवाह ही क्यों न हो, कुंडली मिलान बेहद जरूरी है। प्रेम विवाह में पार्टनर एक-दूसरे से बहुत प्यार करते हैं और कुंडली मेल न खाने पर भी छोड़ने को तैयार नहीं होते हैं। यहां यह याद रखना जरूरी है कि विवाह से पहले और बाद का प्यार अलग-अलग होता है। हो सकता है कि आपका प्रेमी विवाह के बाद आपको उतना प्रिय न रहे जितना विवाह से पहले था। कई बार ऐसा देखा गया है कि विवाह उपरांत दो लोगों के रिश्तों में बेहद बदलाव आ जाते हैं।

ज्योतिष शास्त्र में हम इसे ऐसे समझ सकते हैं कि पांचवां घर रोमांस का घर है और सातवां घर विवाह का घर है। अब ये दो अलग-अलग चीजें दो अलग-अलग घरों से नजर आ रही हैं. आपका पांचवां घर अच्छा हो सकता है, लेकिन यह गारंटी नहीं देता कि आपका सातवां घर भी अच्छा है। और यदि सातवां घर खराब स्थिति में है, तो आपके वैवाहिक जीवन में परेशानी होगी। उस मामले में, हम विवाह पूर्व और विवाह पश्चात परामर्श का सुझाव देते हैं। इन परामर्श सेशन में, हम आपके लिए सुखी वैवाहिक जीवन सुनिश्चित करने के लिए सबसे प्रभावी उपाय और कर्म संशोधन तकनीकों का सुझाव देते हैं।

Read more about: दैनिक राशिफल/daily horoscope | वार्षिक राशिफल 2024 /Varshik Rashifal 2024

The post यदि कुंडली मिलान न हो तो क्या होगा? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-na-hone-per-kya-hoga/feed/ 0 2545
विवाह से पहले कुंडली मिलान का महत्व https://kundlihindi.com/blog/shadi-se-pahle-kundli-milan/ https://kundlihindi.com/blog/shadi-se-pahle-kundli-milan/#respond Wed, 01 Nov 2023 07:32:25 +0000 https://kundlihindi.com/?p=2119 कुंडली मिलान, भारतीय संस्कृति में एक पवित्र और सदियों पुरानी परंपरा है। इसमें भावी दूल्हा और दुल्हन के व्यक्तित्व, जीवनशैली और समग्र कल्याण की अनुकूलता निर्धारित करने के लिए उनकी जन्म कुंडली का विश्लेषण करना शामिल है। ये जन्म कुंडली, या कुंडलियाँ, सटीक तिथि, समय और जन्म स्थान के आधार पर बनाई जाती हैं, और...

The post विवाह से पहले कुंडली मिलान का महत्व appeared first on KundliHindi.

]]>
कुंडली मिलान, भारतीय संस्कृति में एक पवित्र और सदियों पुरानी परंपरा है। इसमें भावी दूल्हा और दुल्हन के व्यक्तित्व, जीवनशैली और समग्र कल्याण की अनुकूलता निर्धारित करने के लिए उनकी जन्म कुंडली का विश्लेषण करना शामिल है। ये जन्म कुंडली, या कुंडलियाँ, सटीक तिथि, समय और जन्म स्थान के आधार पर बनाई जाती हैं, और ये किसी व्यक्ति के जीवन के खाके के रूप में काम करती हैं।

कुंडली मिलान में ज्योतिष जन्म के समय ग्रहों, चंद्रमा और अन्य खगोलीय पिंडों की स्थिति सहित कुंडली के विभिन्न पहलुओं का आकलन करते हैं। प्राथमिक लक्ष्य यह जांचना है कि क्या दो व्यक्तियों की दिव्य ऊर्जा सामंजस्यपूर्ण रूप से संरेखित होती है या क्या संभावित संघर्ष हैं जो उनके वैवाहिक जीवन को प्रभावित कर सकते हैं।

क्या शादी से पहले कुंडली मिलाना जरूरी है?

कुंडली मिलान एक परंपरा है जो भारतीय संस्कृति में गहराई से निहित है और कई लोगों के लिए, शादी को अंतिम रूप देने से पहले इसे एक आवश्यक कदम माना जाता है। हालांकि यह हर किसी के लिए  अनिवार्य नहीं हो सकता है, लेकिन यह कई फायदे प्रदान करता है, जो एक सफल और सामंजस्यपूर्ण वैवाहिक जीवन में महत्वपूर्ण योगदान दे सकते हैं।

अनुकूलता का आकलन: कुंडली मिलान/Kundli Maching  से भावी साझेदारों के बीच अनुकूलता का मूल्यांकन करने में मदद मिलती है। यह व्यक्तित्व, स्वास्थ्य, भावनात्मक कल्याण और वित्तीय स्थिरता जैसे कारकों पर विचार करता है, जिससे यह पता चलता है कि क्या जोड़ा लंबे समय तक चलने वाले और खुशहाल विवाह के लिए उपयुक्त है।

संघर्ष की रोकथाम: संभावित संघर्षों की शुरुआत में ही पहचान करके, कुंडली मिलान जोड़ों और उनके परिवारों को निवारक उपाय करने की अनुमति देता है। यह उन क्षेत्रों को समझने में मदद करता है जहां चुनौतियां हो सकती हैं और उन पहलुओं पर काम करने का अवसर प्रदान करता है, जिससे एक स्वस्थ संबंध को बढ़ावा मिलता है।

पारिवारिक स्वीकृति: भारतीय परिवारों में कुंडली के संरेखण को बुजुर्गों और व्यापक समुदाय की स्वीकृति प्राप्त करने के एक तरीके के रूप में देखा जाता है। इससे वैवाहिक जीवन में सहज और अधिक सहायक परिवर्तन हो सकता है।

ज्योतिषीय उपाय: ऐसे मामलों में जहां कुंडली पूरी तरह से मेल नहीं खाती है, ज्योतिष संभावित चुनौतियों को कम करने के लिए ज्योतिष उपायों या अनुष्ठानों की सिफारिश कर सकते हैं। ये उपाय विशिष्ट रत्न पहनने से लेकर विशिष्ट प्रार्थना और अनुष्ठान करने तक भिन्न-भिन्न हो सकते हैं।

मन की शांति: कई लोगों के लिए कुंडली मिलान/ Kundli Milan मानसिक शांति प्रदान करता है, यह जानकर कि उन्होंने एक सामंजस्यपूर्ण और सफल विवाह सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक सावधानियां बरती हैं।

कुंडली मिलान के लाभ

व्यक्तिगत अनुकूलता: कुंडली मिलान व्यक्तिगत स्तर पर जोड़े की अनुकूलता निर्धारित करने में मदद करता है। यह स्वभाव, व्यवहार और रुचियों जैसे कारकों को ध्यान में रखता है। यह जानकारी विवाह की मजबूत नींव बनाने के लिए महत्वपूर्ण है।

स्वास्थ्य और दीर्घायु: कुंडली मिलान संभावित भागीदारों के स्वास्थ्य का आकलन करता है और उनकी दीर्घायु की भविष्यवाणी करता है। इससे दंपत्ति को स्वास्थ्य संबंधी किसी भी संभावित चुनौती के लिए तैयार होने और सोच-समझकर निर्णय लेने में मदद मिल सकती है।

वित्तीय अनुकूलता: आज की दुनिया में वित्तीय अनुकूलता को समझना महत्वपूर्ण है। कुंडली मिलान दोनों व्यक्तियों की वित्तीय स्थिरता के बारे में जानकारी प्रदान करता है, जिससे अधिक सुरक्षित भविष्य सुनिश्चित होता है।

पारिवारिक अनुकूलता: यह पारिवारिक पृष्ठभूमि और परंपराओं की भी जांच करता है ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि वे अच्छी तरह से संरेखित हैं। विस्तारित परिवार में सामंजस्य बनाए रखने के लिए यह आवश्यक है।

बच्चे और संतान: कुंडली मिलान से दंपति की बच्चे पैदा करने की क्षमता और वे स्वस्थ और समृद्ध होंगे या नहीं, इसका अनुमान लगाया जा सकता है। यह जानकारी परिवार शुरू करने के इच्छुक लोगों के लिए महत्वपूर्ण है।

समग्र कल्याण: कैरियर, भावनात्मक स्थिरता और आध्यात्मिक विकास सहित जीवन के विभिन्न पहलुओं का आकलन करके, कुंडली मिलान जोड़े के समग्र कल्याण को सुनिश्चित करने में मदद करता है।

कुंडली मिलान एक ऐसी परंपरा है जो समय की कसौटी पर खरी उतरी है और भारतीय विवाहों का एक अभिन्न अंग बनी हुई है। हालांकि यह हर किसी के लिए अनिवार्य नहीं हो सकता है, लेकिन इसके महत्व को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है |  यह संभावित साझेदारों की अनुकूलता के बारे में मूल्यवान अंतर्दृष्टि प्रदान करता है, संघर्ष की रोकथाम में मदद करता है और एक सामंजस्यपूर्ण और समृद्ध वैवाहिक यात्रा सुनिश्चित करता है। जो लोग ज्योतिष और परंपरा में विश्वास करते हैं, उनके लिए कुंडली मिलान एक सफल और आनंदमय विवाह के लिए एक मूल्यवान उपकरण है।

यह भी पढ़ सकते हैं: क्या मैं 2024 में शादी करूंगा | कुंडली में संतान सुख कैसे देखें

The post विवाह से पहले कुंडली मिलान का महत्व appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/shadi-se-pahle-kundli-milan/feed/ 0 2119
कुंडली मिलान के साथ एक सही जीवन साथी की तलाश? https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ke-sath-sahi-jeevan-sathi-ki-talash/ https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ke-sath-sahi-jeevan-sathi-ki-talash/#respond Sat, 02 Sep 2023 12:53:41 +0000 https://kundlihindi.com/?p=1798 धार्मिक मान्यताओं के अनुसार कुंडली मिलान को विवाह के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। कुंडली मिलान को गुण मिलान भी कहा जाता है जोकि सदियों से चली आ रही एक परंपरा है। कुंडली मिलान का उद्देश्य यह जांचना होता है कि क्या एक जोड़ा विवाह के योग्य है या नहीं। इसमें भावी वर...

The post कुंडली मिलान के साथ एक सही जीवन साथी की तलाश? appeared first on KundliHindi.

]]>
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार कुंडली मिलान को विवाह के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। कुंडली मिलान को गुण मिलान भी कहा जाता है जोकि सदियों से चली रही एक परंपरा है। कुंडली मिलान का उद्देश्य यह जांचना होता है कि क्या एक जोड़ा विवाह के योग्य है या नहीं। इसमें भावी वर और वधू की जन्म कुंडलियों की जांच की जाती है। कुंडली मिलान में ज्योतिषी, वर और वधू दोनों की राशि मित्रता, ग्रहों की स्थिति, उनके प्रभाव और ज्योतिषीय गुणों और अवगुणों का अध्ययन करते हैं।

कुंडली मिलान यह जानने में मदद करता है कि क्या दो लोगों का आपस में विवाह सुखमय रहेगा या नहीं। इसके अलावा यह इस बात का भी संकेत देता है कि भविष्य में आपके वैवाहिक जीवन में कौनकौन सी समस्याएं सकती हैं और उन्हें कैसे हल किया जा सकता है। कुछ लोग इसकी सटीकता पर संदेह कर सकते हैं, लेकिन कुंडली मिलान आज भी भारतीय परंपरा का एक अभिन्न हिस्सा है। कई वर्षों के बाद, आज भी विवाह के लिए कुंडली मिलान को ही सबसे अहम माना जाता है। आज भी जब विवाह की बात आती है तो कुंडली मिलान को सबसे विश्वसनीय सूत्र माना जाता है।

नाम और जन्म तिथि के माध्यम से कुंडली मिलान

ज्योतिषी शास्त्र में, नाम और जन्म तिथि के माध्यम से गुण मिलान करते हैं। कुंडली मिलान में कुल 36 गुण या अंक होते हैं। ऐसा माना जाता है कि जितने अधिक कुंडली के गुण मिलते हैं, उतना ही अधिक वैवाहिक सुख बढ़ सकता है। इस प्रकार, कुंडली मिलान हस्तरेखा संगतता की भी जांच करता है। जन्म तिथि का उपयोग करके यह देखा जाता है कि क्या भावी वर वधू में गुण या विशेषताएँ एक अच्छा मिलान हैं या नहीं।

आजकल कई वेबसाइट्स मुफ्त कुंडली मिलान उपकरण प्रदान करती हैं जिनके माध्यम से गुण मिलान और कुंडली मिलान किया जा सकता है। व्यक्ति का नाम उसकी राशि या चंद्र राशि को सूचित करता है, जो व्यक्तिगत गुणों को निर्धारित करने में मदद करता है। यह लोगों को यह जानने में मदद करता है कि एक नए संबंध का कितना अच्छा परिणाम हो सकता है।

ज्योतिष में जीवनसाथी की भविष्यवाणी

आपकी जन्म कुंडली के आधार पर, ज्योतिष आपके संभावित जीवन साथी के बारे में एक दृष्टिकोण प्रदान कर सकता है। विवाह का मुख्य भाव सप्तम भाव, लव और रोमांस का कारक ग्रह शुक्र, और अन्य ग्रहीय संबंधों जैसे कारकों का विश्लेषण करके, ज्योतिषी आपके भावी जीवनसाथी की विशेषताओं और संगतता के बारे में जानकारी प्रदान कर सकते हैं।

जन्म कुंडली से अपने भावी जीवनसाथी की विशेषताओं और गुणों के बारे में पता लगाया जा सकता है। ज्योतिषी विभिन्न कारकों का विश्लेषण करके दृष्टिकोण प्रदान करते हैं:

    • सप्तम भाव : कुंडली का सप्तम भाव विवाह और साझेदारी को दर्शाता है। यहां स्थित ग्रह और इसके शासक आपके जीवनसाथी के स्वभाव और गुणों के बारे में संकेत दे सकते हैं।
    • शुक्र : लव और रोमांस का कारक ग्रह शुक्र है। इसकी स्थिति और पहलू यह संकेत दे सकते हैं कि आप किस प्रकार के साथी को आकर्षित कर सकते हैं और जीवनसाथी के लिए आपकी प्राथमिकताएं क्या हैं।
    • मंगल: मंगल साहस और उत्साह जैसे गुणों का प्रतिनिधित्व करता है। उसकी स्थिति आपके भावी जीवनसाथी की ऊर्जा, प्रेरणा, साहस और विवादों को संभालने की क्षमता के बारे में जानकारी प्रदान कर सकती है।
    • चंद्रमा: चंद्रमा भावनाओं और संवेदनाओं का प्रतीक है। इसका स्थान आपके जीवनसाथी की भावनात्मक प्रकृति और वे खुद को भावनात्मक रूप से कैसे व्यक्त करते हैं, इसकी जानकारी दे सकते हैं।
    • बृहस्पति: बृहस्पति बुद्धि और विकास से जुड़ा होता है। उसका प्रभाव आपके जीवनसाथी के संभावित गुणों जैसे उनके विचारों, मूल्यों और जीवन के प्रति दृष्टिकोण के बारे में संकेत दे सकता है।
    • लगन (उदय राशि): लगन उदय राशि आपके जीवनसाथी के बाहरी व्यक्तित्व और दिखावे के बारे में जानकारी प्रदान कर सकती है।
    • ग्रहों की स्थिति : आपकी कुंडली में विभिन्न ग्रहों के बीच संबंध (पहलू) आपके जीवनसाथी के व्यक्तित्व, अनुकूलता और आप दोनों कैसे बातचीत कर सकते हैं, के पहलुओं को प्रकट कर सकते हैं।
    • नवांश चार्ट: इस चार्ट का उपयोग स्पष्ट रूप से विवाह और रिश्तों के लिए किया जाता है। इसका विश्लेषण करने से आपके जीवनसाथी के स्वभाव और आपकी अनुकूलता के बारे में गहरी जानकारी मिल सकती है।
    • राशि चिन्हों का स्थान: जिन राशियों में आपके विवाह संबंधी ग्रह स्थित हैं, वे आपके जीवनसाथी की विशेषताओं, जैसे स्वभाव और व्यवहार, के बारे में जानकारी प्रदान कर सकते हैं।

विवाह के लिए ऑनलाइन कुंडली मिलान

वर और वधू की कुंडली में चंद्रमा की स्थिति बेहद मायने रखती है। चंद्रमा हमारे मन का प्रतिनिधित्व करता है और वैवाहिक जीवन के कई आवश्यक पहलुओं का प्रतीक है। यदि चंद्रमा की राशियाँ या नक्षत्र आपस में मेल खाते हैं, तो सुखी विवाह की अच्छी संभावनाएँ होती हैं।

अष्ट कूट मिलान में, ज्योतिषी 36 गुणों की जाँच करते हैं। कुंडली में अधिक अंक मिलान का अर्थ है बेहतर विवाह। यदि वर और वधू के सभी 36 गुण मेल खाते हैं, तो इसे एक आदर्श मिलान के रूप में देखा जाता है।

वैदिक ज्योतिष में, जब वर और वधू की जन्म कुंडली की तुलना की जाती है, तो विवाह की सफलता की भविष्यवाणी के लिए मिलान पहलुओं की संख्या महत्वपूर्ण होती है। यह ऐसे काम करता है:

  • अष्टकूट मिलान में यदि 18 से कम पहलू मेल खाते हैं, तो उन्हें विवाह करने की सलाह नहीं दी जाती है क्योंकि यह एक अच्छा मेल नहीं होता है।
  • अष्टकूट मिलान में 18 से 24 गुण मेल खाने पर ही विवाह को मंजूरी मिल सकती है, लेकिन यह एक अनुकूल मिलान माना जाता है।
  • अष्टकूट मिलान में 25 से 32 गुणों का मिलान बहुत उत्तम माना जाता है। इससे सुखी विवाह की उच्च संभावना का पता चलता है।

ऑनलाइन कुंडली मिलान के फायदे

  • सरल और आरामदायक: ऑनलाइन कुंडली मिलान बेहद ही सरल विकल्प है और इसे घर या कार्यालय कहीं से भी इस्तेमाल किया जा सकता है। आपको इसके लिए किसी भी जगह जाने की आवश्यकता नहीं है। आप जब चाहे इसका इस्तेमाल कर सकते हैं और अच्छे परिणाम प्राप्त कर सकते हैं।
  • समय बचत: यह सेवा तेजी से काम करती है और समय बचाती है। यह व्यस्त लोगों के लिए बड़ा फायदेमंद है जिन्हें व्यक्तिगत तरीके से एक ज्योतिषी के पास जाने की संभावना नहीं होती।
  • विश्वसनीय परिणाम: सॉफ़्टवेयर जन्म तिथियों, समयों और स्थानों का उपयोग करके सटीक परिणाम प्रदान करता है। इससे आपको पता चलता है कि आप किसी के साथ कितने अच्छे मिलते हैं।
  • किफ़ायती: यह अक्सर ज्योतिषी से मुलाकात करने की तुलना में सस्ता होता है। आप यात्रा और शुल्क में बचत करते हैं।
  • व्यक्तिगत: आपकी गोपनीयता सुरक्षित है। आपको किसी ज्योतिषी के साथ व्यक्तिगत चीज़ें साझा करने की आवश्यकता नहीं है। आपकी जानकारी गोपनीय रहती है।

The post कुंडली मिलान के साथ एक सही जीवन साथी की तलाश? appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kundli-milan-ke-sath-sahi-jeevan-sathi-ki-talash/feed/ 0 1798
कुंडली द्वारा उपयुक्त जीवनसाथी कैसे खोजें https://kundlihindi.com/blog/kundli-se-kaise-jane-jeevansathi/ https://kundlihindi.com/blog/kundli-se-kaise-jane-jeevansathi/#respond Tue, 02 May 2023 12:03:53 +0000 https://kundlihindi.com/?p=1751 ज्योतिष में जन्मकुंडली, व्यक्ति के जन्म समय के ग्रहों की स्थिति का प्रतिचित्र होती है जो व्यक्ति के व्यक्तित्व, गुणों, कमजोरियों और जीवन के संबंध में महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्रदान कर सकती है। साथ ही, इसका उपयोग व्यक्ति की संगतता निर्धारित करने और संभावित जीवनसाथी की पहचान करने के लिए भी किया जाता है। स्वयं की...

The post कुंडली द्वारा उपयुक्त जीवनसाथी कैसे खोजें appeared first on KundliHindi.

]]>
ज्योतिष में जन्मकुंडली, व्यक्ति के जन्म समय के ग्रहों की स्थिति का प्रतिचित्र होती है जो व्यक्ति के व्यक्तित्व, गुणों, कमजोरियों और जीवन के संबंध में महत्वपूर्ण अंतर्दृष्टि प्रदान कर सकती है। साथ ही, इसका उपयोग व्यक्ति की संगतता निर्धारित करने और संभावित जीवनसाथी की पहचान करने के लिए भी किया जाता है।

स्वयं की कुंडली को समझना/ Understand your own Kundli: कुंडली के आधार पर जीवनसाथी की तलाश शुरूआत करने से पहले, स्वयं की कुंडली को अच्छी तरह से समझना आवश्यक होता है क्योंकि इससे व्यक्ति को स्वयं के गुणों, कमजोरियों की पहचान करने में मदद मिलती है कि किस तरह का साथी उसके लिए उपयुक्त रहेगा।

संगत कुंडली की तलाश करना/ Look for compatible Kundli: कुंडली द्वारा एक अच्छा जीवनसाथी खोजने का मूल‌ आधार, ऐसे व्यक्ति की तलाश करना है जिसकी कुंडली व्यक्ति की कुंडली के अनुकूल हो जो दोनों कुंडलियों में ग्रहों की स्थिति की तुलना करके, उनके परस्पर प्रभाव का विश्लेषण करके निर्धारित किया जा सकता है।

ज्योतिषी से परामर्श करना/ Consult with an astrologer: एक ज्योतिषी, जीवन और संबंधों में समस्याएं उत्पन्न करने वाले दोषों या ग्रहों की स्थिति की पहचान करने में मदद करता है। इसलिए ज्योतिषी से परामर्श करना उचित रहता है।

वैदिक ज्योतिष के अनुसार जानिए अपने होने वाले जीवनसाथी के बारे में/Know about your future life partner as per Vedic astrology

वैदिक ज्योतिष में, कुंडली के आधार पर भावी जीवनसाथी से संबंधित भविष्यवाणियां/ life partner predictions प्राप्त करना संभव होता है। व्यक्ति की कुंडली का विश्लेषण करते समय, ज्योतिषी भावी जीवनसाथी के संबंध में जानकारी पाने के लिए इन कारकों पर विचार करते हैं:

1. सातवां भाव: कुंडली का सातवां भाव विवाह और साझेदारी का भाव होता है इसलिए इस भाव में ग्रहों की स्थिति और अन्य ग्रहों के साथ उनकी युति, विवाह की प्रकृति और समय के बारे में जानकारी प्रदान करती है।

2. नवमांश चार्ट: बेहतर जीवनसाथी से संबंधित भविष्यवाणियां करने वाला नवमांश चार्ट एक डिविजनल चार्ट है जो विवाह और जीवनसाथी के संबंध में अतिरिक्त जानकारी प्रदान करता है। नवमांश कुंडली में सप्तमेश की स्थिति, भावी जीवनसाथी के व्यक्तित्व और विशेषताओं का संकेत देती है।

3. ग्रहों की स्थिति: प्रेम संबंधों के संदर्भ में, कुंडली में शुक्र ग्रह की स्थिति महत्वपूर्ण होती है। चार्ट में इसकी स्थिति, व्यक्ति के रोमांटिक स्वभाव और उस साथी के के बारे में जानकारी देती है जिसके प्रति वह आकर्षित हो सकता है।

4. दशा काल: सप्तमेश या शुक्र की दशा अवधि विवाह के समय और जीवनसाथी के स्वभाव का संकेत देती है।

5. अनुकूलता: वैदिक ज्योतिष, एक सफल विवाह की संभावना का निर्धारण करते समय, दोनों व्यक्तियों की कुंडलियों की अनुकूलता पर भी विचार करता है।

कुंडली मिलान की आवश्यकता- कुंडली मिलान

वैदिक ज्योतिष में, विवाह से पहले कुंडली मिलाना औपचारिक आवश्यकता मानी जाती है जिसमें वर-वधू की अनुकूलता और उनके विवाह की सफलता का निर्धारण करने के लिए, कुंडली या जन्मचार्ट का विश्लेषण और तुलना की जाती है।

कुंडली मिलान की इस प्रक्रिया में ग्रहों की स्थिति, नक्षत्र और गुणों जैसे विभिन्न कारकों पर विचार किया जाता है जिसका उद्देश्य दो व्यक्तियों के बीच होने वाले संभावित संघर्षों की पहचान करके, वैवाहिक विसंगतियों के जोखिमों को कम करने के लिए समाधान खोजने में मदद करना है।

कुंडली मिलाने के लाभ/ benefits of Kundli matching

  • अनुकूलता संबंधी मुद्दों की पहचान करना: कुंडली मिलान से शादीशुदा जोड़ों के बीच संभावित संघर्ष क्षेत्रों की पहचान करने में मदद मिलती है।
  • सामंजस्यपूर्ण विवाह सुनिश्चित करना: इससे वर और वधू के वर्ण, वंश, तारा, योनी, मैत्री ग्रह, गण और भकूट जैसे गुणों का मिलान करके, सामंजस्यपूर्ण विवाह सुनिश्चित करने में मदद मिलती है।
  • सफल विवाह की संभावना में वृद्धि करना: कुंडली मिलान संभावित मुद्दों की पहचान करके और उनका निवारक उपाय करके, एक सफल विवाह की संभावना को बढ़ाने में मदद करता है।

कुल मिलाकर, विवाह की सफलता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले कुंडली मिलान को, वैदिक ज्योतिष का एक अनिवार्य पहलू माना जाता है जो  अनुकूलता, सद्भाव और सुखी वैवाहिक जीवन सुनिश्चित करने में मदद करता है।

The post कुंडली द्वारा उपयुक्त जीवनसाथी कैसे खोजें appeared first on KundliHindi.

]]>
https://kundlihindi.com/blog/kundli-se-kaise-jane-jeevansathi/feed/ 0 1751